85 दिनों के बाद नीतीश सरकार को मिलेंगे मुस्लिम मंत्री

बिहार लोक संवाद डॉट नेट पटना

नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली बिहार की एनडीए सरकार को 85 दिनों के बाद मंगलवार को पहली बार मुस्लिम मंत्री मिलेगा।
नीतीश सरकार के मंत्रिमंडल का इस बार इतने लंबे इंतजार के बाद विस्तार किया जा रहा है। खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि उनके कार्यकाल में मंत्रिमंडल विस्तार में कभी इतनी देर नहीं हुई। उन्होंने इसका कारण बीजेपी से लिस्ट नहीं मिलना बताया था। फिर बीच में खरमास के कारण यह टाल दिया गया।
अब भाजपा ने अपनी लिस्ट दे दी है तो मंगलवार को साढ़े बारह बजे मंत्रिमंडल विस्तार की घोषणा की गई है। इस लिस्ट के मुताबिक बीजेपी के 9 मंत्री होंगे जिसमें एक प्रमुख नाम शाहनवाज हुसैन का है। उधर जेडीयू की लिस्ट के मुताबिक 8 मंत्री बनेंगे जिसमें बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर विधायक बनने के बाद जदयू में शामिल हुए ज़मां खान भी शामिल हैं।
इस तरह 85 दिनों के बाद नीतीश सरकार को कोई मुस्लिम मंत्री मिलेगा।
अंदाज़ा लगाया जा रहा कि इसके साथ ही मंत्रियों के विभाग भी बदलेंगे। अभी अल्पसंख्यक कल्याण विभाग के मंत्री अशोक चौधरी हैं, और यह समझा जाता है कि किसी गैर अल्पसंख्यक का इस विभाग को संभालना मजबूरी की बात है क्योंकि सरकार में शामिल दोनों दलों के पास कोई अपना विधायक नहीं था।
बिहार विधानसभा में 243 सीटें हैं इस हिसाब से कुल 36 मंत्री हो सकते हैं। फिलहाल सीएम समेत 14 मंत्री हैं और अभी 22 मंत्रियों के शामिल होने की गुंजाइश है। इस विस्तार के बाद भी 5 मंत्री पद खाली रहने की संभावना है। 16 नवंबर को मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण में कुल 15 सदस्य थे लेकिन एक मंत्री मेवालाल को भ्रष्टाचार के आरोपों पर हंगामे के बाद इस्तीफा देना पड़ा था।
मंत्री बनाये जाने वालों की जदयू की लिस्ट में श्रवण कुमार, लेसी सिंह, मदन सहनी, संजय झा, नीरज कुमार, ज़मां खान, सुमित कुमार सिंह और जयंत राज के नाम बताए जा रहे हैं।
बीजेपी की लिस्ट में शाहनवाज हुसैन, नितिन नवीन, सुभाष सिंह, सम्राट चौधरी, आलोक रंजन, प्रमोद कुमार, जनक राम, श्रीनारायण प्रसाद और भागीरथी देवी का नाम बताया जा रहा है।

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