छ्पी-अनछपी: हाथरस में सत्संग के बाद भगदड़ में 116 की मौत, मोदी का राहुल पर ‘बालक बुद्धि’ का तंज़
बिहार लोक संवाद डॉट नेट, पटना। उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में सत्संग के बाद मची भगदड़ में कम से कम 116 लोगों की मौत हो गई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राहुल गांधी के लिए बालक बुद्धि शब्द का इस्तेमाल करते हुए तंज़ किया है। रांची में इस बात की जोरदार चर्चा है कि क्या हेमंत सोरेन एक बार फिर मुख्यमंत्री बनेंगे। नेपाल में प्रधानमंत्री प्रचंड की सरकार खतरे में पड़ गई है। काराकाट से लोकसभा सीट हारने वाले उपेंद्र कुशवाहा राज्यसभा भेजे जाएंगे। आज के अखबारों की यह अहम खबरें हैं।
जागरण के अनुसार उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में मंगलवार को नारायण साकार विश्व हरि उर्फ भोले बाबा के सत्संग के बाद मची भगदड़ में 116 श्रद्धालुओं की मौत हो गई। इनमें 108 महिलाएं 7 बच्चे और एक पुरुष शामिल हैं। बड़ी संख्या में लोग घायल हुए हैं। सत्संग में हाथरस, एटा व कासगंज के साथ ही राजस्थान, मध्य प्रदेश और उत्तराखंड से भी श्रद्धालु आए थे। हादसे के बाद स्वयंभू बाबा घटनास्थल से निकल कर देर शाम मैपुरी स्थित अपने आश्रम पहुंच गया। डीजीपी प्रशांत कुमार ने 116 लोगों की मौत की पुष्टि करते हुए कहा कि आयोजक को हिरासत में लिया गया है। घटना की जांच के लिए समिति गठित की गई है। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने घटनास्थल पर पहुंचने के बाद बताया कि चरण धूल लेने की होड़ में मची भगदड़ से हादसा हुआ है। सत्संग के बाद भीड़ ने निकलना शुरू किया, इसी दौरान बाबा का काफिला भी निकला। बाबा के दर्शन के लिए भीड़ उमड़ पड़ी। काफिला निकालने के लिए एक तरफ से भीड़ को रोका गया तो बाबा के दर्शन के लिए धक्का मुक्की शुरू हो गई। इसी बीच भगदड़ मच गई।
बाबा पर यौन शोषण समेत छह केस
सिपाही से कथित बाबा बने सूरजपाल सिंह ने सत्संग के लिए ही एसआई की नौकरी छोड़ी थी। पिछले 17 वर्ष से वह नारायण साकार विश्व हरि के नाम से प्रवचन दे रहा है। वह मंच पर कोट पैंट पहन कर ही पहुंचता है। साथ में पत्नी भी होती है। उत्तर प्रदेश के कासगंज जिले के बहादुर नगर गांव के रहने वाले सूरजपाल के पिता किसान थे। इस बीच उत्तर प्रदेश के पूर्व डीजीपी विक्रम सिंह ने कहा कि बाबा पर यौन शोषण समेत छह मुकदमे हैं। “ठाठ बाट राज्यपाल से भी ऊपर है। ऐसे में इसकी पूरी जांच होनी चाहिए। आखिर इतनी मौत का जिम्मेदार कौन है?”
मोदी का राहुल व कांग्रेस पर हमला
प्रभात खबर के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को विपक्षी दलों के भारी हंगामे के बीच लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब दिया। उनके दो घंटे 15 मिनट के भाषण के दौरान विपक्षी सांसद वेल में आ गए और ‘तानाशाही नहीं चलेगी’, ‘मणिपुर- मणिपुर’ और ‘न्याय दो, न्याय दो’ के लगातार नारे लगाते रहे। हंगामे के कारण पीएम को दो बार अपना भाषण रोकना पड़ा। मोदी ने राहुल गांधी के ‘हिंदू हिंसक’ वाले सोमवार के बयान पर कहा कि यह गंभीर बात है कि हिंदुओं पर आरोप लगाने का षड्यंत्र हो रहा है। उन्होंने कहा कि हिंदू समाज को सोचना पड़ेगा कि क्या यह अपमान कोई संयोग है या बड़े प्रयोग की तैयारी है। राहुल गांधी पर परोक्ष रूप से हमला करते हुए मोदी ने बालक बुद्धि शब्द का इस्तेमाल किया और साफ किया कि इन हरकतों को बालक बुद्धि कहकर नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। कांग्रेस पर अराजकता फैलाने की साजिश रचने का आरोप लगाते हुए पीएम मोदी ने कहा कि मुख्य विपक्षी दल को अब से परजीवी पार्टी के रूप में जाना जाएगा।
क्या हेमंत फिर से सीएम बनेंगे?
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के जेल से बाहर निकालने के बाद झारखंड में सियासी हलचल तेज हो गई है। बुधवार को सत्ता पक्ष के विधायकों की बैठक है। विधायक दल की बैठक बुलाई जाने के साथ ही घटनाक्रम तेजी से बदल रहे हैं। मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन ने मंगलवार को सभी सरकारी और गैर सरकारी कार्यक्रम रद्द कर दिए। चंपाई सोरेन दिनभर मोहराबादी स्थित आवास में रही रहे। हालांकि सीएम के कार्यक्रम रद्द होने के कारण पर अधिकारी अधिकृत रूप से कुछ बताने से कतराते रहे। इधर पूर्व मुख्यमंत्री और पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष हेमंत सोरेन दिन में सीएम से मिलने उनके आवास पहुंचे।
नेपाल में प्रचंड की सरकार खतरे में
नेपाल में पुष्प कमल दाहाल ‘प्रचंड’ के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार अल्पमत में आ गई है। नेपाल में सोमवार आधी रात हुए नाटकीय घटनाक्रम में सत्तारूढ़ गठबंधन सरकार में शामिल सीपीएन-यूएमएल ने नेपाली कांग्रेस के साथ नया गठबंधन बनाने को लेकर समझौता कर लिया है। इसके तहत सीपीएन-यूएमएल अध्यक्ष केपी शर्मा ओली और नेपाली कांग्रेस अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा बारी-बारी से सरकार का नेतृत्व करेंगे। इस बीच नेपाल की कम्यूनिस्ट पार्टी (माओवादी सेंटर) के नेता प्रचंड ने प्रधानमंत्री पद से त्यागपत्र देने से इनकार कर दिया है और कहा है कि वह विश्वास मत का सामना करेंगे। प्रचंड ने डेढ़ साल के दौरान तीन बार विश्वास मत लिया है और अब उनके पास चौथी बार विश्वास मत लेने की चुनौती है।
उपेंद्र कुशवाहा जाएंगे राज्यसभा
रालोमो सुप्रीमो एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेन्द्र कुशवाहा राज्यसभा जाएंगे। काराकाट से लोकसभा चुनाव में उन्हें पराजय मिली थी। कुशवाहा भाजपा के कोटे से उच्च सदन जाएंगे। मंगलवार को प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सह उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने पत्रकारों से बातचीत में यह जानकारी दी। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने मीडिया से बातचीत में कहा कि उपेन्द्र कुशवाहा राज्यसभा जाएंगे। वे बतौर एनडीए प्रत्याशी राज्यसभा के उम्मीदवार होंगे। प्रदेश अध्यक्ष के बयान से यह साफ है कि उपेन्द्र कुशवाहा भाजपा सांसद विवेक ठाकुर के लोकसभा सांसद बनने के बाद खाली हुई सीट से ही राज्यसभा जाएंगे। ऐसे में उनका कार्यकाल दो वर्षों के लिए होगा।
भाषण के काटे हिस्से को रिकॉर्ड में लें: राहुल
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर दिए अपने भाषण के कुछ हिस्सों को कार्यवाही से निकाले जाने पर ऐतराज जताया है। उन्होंने मंगलवार को कहा कि सच्चाई को कभी हटाया नहीं जा सकता। सच्चाई हमेशा सच्चाई रहती है। उन्हें जो कहना था, वह कह चुके हैं। इस बीच, उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर अपने भाषण से हटाए गए अंशों को फिर कार्यवाही के रिकॉर्ड में शामिल करने का आग्रह किया है।
कुछ और सुर्खियां
- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आज 10 हज़ार अमीन और कानून को नियुक्ति पत्र सौंपेंगे
- बिहार में आरक्षण की बढ़ी सीमा को रद्द करने के हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ राज्य सरकार पहुंची सुप्रीम कोर्ट
- बिहार में एमबीबीएस की पढ़ाई हिंदी भाषा में भी इसी सत्र से
- विश्व हिंदू परिषद ने कहा- राहुल गांधी को मठ मंदिरों में पूजा की अनुमति न दें
- ग़ज़ा में इसराइली सेना की भीषण गोलीबारी में 25 लोगों की मौत
- राजेंद्र कृषि विश्वविद्यालय के पूर्व प्रोफेसर अजय कुमार सिंह पटना विश्वविद्यालय के कुलपति बनाए गए
- उत्तर बिहार की कई नदियां खतरे के निशान से ऊपर, आज भी 13 जिलों में हो सकती है भारी बारिश
अनछ्पी: हाथरस में सत्संग के बाद मची भगदड़ में 116 लोगों की मौत के बाद सबसे बड़ा सवाल शायद यह है कि सत्संग करने वाला बाबा अब तक गिरफ्तार क्यों नहीं किया गया है? उत्तर प्रदेश की सरकार अपने अधिकारियों पर जो कार्रवाई करेगी वह तो उसे करना ही चाहिए लेकिन क्या इस बाबा का इतना प्रभाव है कि इतने लोगों की मौत के बाद भी कोई उस पर हाथ नहीं डाल सकता? खबरों में बताया गया कि बाबा मैनपुरी स्थित अपने आश्रम में चला गया लेकिन पुलिस उसके आश्रम तक क्यों नहीं पहुंची? सूरजपाल सिंह से साकार नारायण विश्व हरि बने इस कथित बाबा के बारे में उत्तर प्रदेश के पूर्व डीजीपी विक्रम सिंह ने यौन शोषण समेत आधा दर्जन मामलों में केस होने की बात कही है। इस गंभीर आरोप के बावजूद इस बाबा को ऐसे आयोजन की अनुमति कैसे दी जाती है और इतने बड़े हादसे के बाद भी उसे क्यों छोड़ दिया गया? कानूनी सवाल के अलावा कई सामाजिक बातें भी हैं जो पूछी जानी चाहिए। आखिर हमारे समाज में ऐसे संदिग्ध चरित्र वाले लोग कैसे बाबा बन जाते हैं और कैसे लाखों लोग उनके श्रद्धालु बन जाते हैं? यह बाबा कोई एक दो साल का बाबा नहीं बल्कि अखबारों के अनुसार पिछले 17 सालों से यह सत्संग आयोजित कर रहा है। ऐसे बाबाओं के बारे में चमत्कार की बात कैसे फैलाई जाती है, समाज और सरकार को इसका भी पता लगाना चाहिए। इस बाबा के श्रद्धालु सिर्फ पश्चिमी उत्तर प्रदेश में नहीं बल्कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और आसपास के दूसरे राज्यों में भी हैं। इस हादसे में मरने वाले 116 लोगों में 107 महिलाओं का होना भी एक बड़ा सवाल खड़ा करता है। यह तो हो सकता है कि महिला होने के कारण उन्हें भागने में परेशानी हुई हो लेकिन सवाल यह भी है कि क्या उस सत्संग में महिलाओं की संख्या पुरुषों से काफी अधिक थी? अगर ऐसा है तो यह भी एक भी जानने की बात है कि आखिर महिलाएं इतनी बड़ी संख्या में किस कारण इसकी श्रद्धालु बनी हुई हैं? फिलहाल डर इस बात का है कि इतनी बड़ी संख्या में मौत होने के बाद भी इस मामले की जांच सही ढंग से होगी या नहीं और दोषियों को सजा मिलेगी कि नहीं क्योंकि इसमें आम लोगों की जान गई है और आम लोगों की जान की कीमत हमारे समाज में कितनी है, यह सब को पता है।
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