छपी-अनछपीः महाराष्ट्र के बागियों को सुप्रीम कोर्ट से राहत, फेक न्यूज का पर्दाफाश करने वाले जुबैर बंदी
बिहार लोक संवाद डाॅट नेट, पटना। महारष्ट्र के मुख्यमंत्री की पार्टी शिव सेना के बागी विधायकों की विधायकी रद्द करने के बारे में किसी कार्रवाई से बचने के लिए सुप्रीम कोर्ट का कवच मिल गया है। यह खबर सभी अखबारों में प्रमुखता से छपी है। उधर, फेक न्यूज का पर्दाफाश करने वाले मोहम्मद जुबैर को कथित तौर पर धार्मिक भावना आहत करने के मामले में गिरफ्तार किया गया है जिसका पूरे देश में भारी विरोध हो रहा है।
टाइम्स आॅफ इंडिया की सबसे अहम खबर हैः महाविकास अघाड़ी को धक्काः सुप्रीम कोर्ट ने कहा- बागी विधायाकों को 12 जुलाई तक अमान्य करार नहीं दे सकते। जागरण की हेडलाइन हैः विद्रोही विधायकों को सुप्रीम राहत, 12 जुलाई तक नहीं होगी कार्रवाई। यही खबर प्रभात खबर की भी पहली खबर है।
’अग्निपथ’ को लेकर बिहार विधानमंडल में विपक्षी दलों के हंगामे की खबर ’हिन्दुस्तान’ और ’दैनिक भास्कर’ की लीड है। भास्कर की सुर्खी हैः कानून मंत्री बोले, जिन पर उपद्रव का केस, वे नहीं बनेंगे ’अग्निवीर’।
कोरोना के मामले बढ़ने की खबर लगातार छप रही है। आज भी हिन्दुस्तान ने सूचनी दी है कि पटना में 80 समेत राज्य में 133 नये कोरोना संक्रमित।
बिहार को एमएसएमई सेक्टर में देश में दूसरा स्थान मिलने की खबर को प्रमुखता से छापा गया है। ’हिन्दुस्तान’ ने इस बारे में प्रकाशित समाचार में जानकारी दी है कि मुख्यमंत्री उद्यम योजना के तहत 16 हजार लोगों को 10-10 लाख रुपये दिये गये जिनसे सूक्ष्म, लघु और मध्यम दर्जे के उद्योग लगाये गये।
अनछपीः अब उस खबर की चर्चा जिसे हिन्दी अखबारों ने लगभग मार दिया है। आॅल्ट न्यूज के सह संस्थापक और फेक न्यूज का पर्दाफाश करने में अपना स्थान बनाने वाले मोहम्मद जुबैर को सोमवार की शाम दिल्ली पुलिस ने बिना किसी नोटिस और उचित प्रक्रिया के गिरफ्तार कर लिया। उन पर धार्मिक भावना को आहत करने का आरोप लगाया गया है जिसके बारे में एक अनजान से ट्टिवर हैंडल ने शिकायत की थी। जुबैर के जिस ट्वीट के बारे में आरोप लगाया है वह 2018 में जारी किया था और वह एक 36 साल पुरानी फिल्म का स्क्रीनशाॅट है जिसमें ’हनीमून होटल’ का नाम मिटाकर ’हनुमान होटल’ किया गया है। यह मामला किसी तरह से जुबैर की अपनी कही किसी बात का नहीं है।
जानाकारों का कहना है कि असल में सरकारी पार्टी के आईटी सेल के फेक न्यूूज का जिस तरह तत्काल पर्दाफाश मोहम्मद जुबैर कर रहे थे उससे आईटी सेल और सरकार दोनों खार खाये हुए थे। हो यह रहा है कि जो भी सरकार की पोल खोल रहा है उसे किसी न किसी बहाने गिरफ्तार और तंग करने की नीति चल रही है। दूसरी ओर भाजपा के जिन दो प्रवक्ताओं के बारे में कई जगह एफआईआर दर्ज की गयी है, जिसके लिए भाजपा को स्पष्टीकरण जारी करना पड़ा, जिसे पार्टी से भाजपा ने निलंबित किया और जिसके कारण अरब देशों में भी भारत की किरकिरी हुई थी, उन्हें गिरफ्तार करना तो दूर, दिल्ली पुलिस अपनी सुरक्षा में रखे हुए है।
इस मामले में यह बात भी नोटिस करने की आयी है कि इस गिरफ्तारी के बारे में जहां बाकी नेता खुलकर विरोध कर रहे हैं, वहीं ’आप’ और इसके सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल चुप्पी साधे हैं।
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