छपी-अनछपी: जाति सर्वे पर केंद्र सुप्रीम कोर्ट में देगा एफेडेविट, जुर्म में पाकिस्तान से तुलना पर बवाल

बिहार लोक संवाद डॉट नेट, पटना। बिहार में जातीय गणना का काम हालांकि पूरा हो चुका है लेकिन मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में चल रही है। इससे जुड़ी खबर पहले पेज पर दी गई है। बिहार में अपराध की तुलना पाकिस्तान से किये जाने पर सियासी बयानबाजी हो रही है जिसकी अच्छी कवरेज है। जागरण ने अपनी एक्सक्लूसिव खबर में बताया है कि भारत ने एक बार फिर पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक की है।

भास्कर की सबसे बड़ी खबर है सुप्रीम कोर्ट में केंद्र ने कहा: सर्वे का असर संभव, हम वैधानिक पक्ष रखेंगे। बिहार में जाति आधारित सर्वे पर सुप्रीम कोर्ट में हो रही सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने भी केंद्र की ओर से सोमवार को पक्ष रखा। कहा, सर्वे का कुछ असर संभव है। उन्होंने सर्वे की वैधानिकता के मसले पर शपथ पत्र दायर करने की अनुमति मांगी। मेहता ने कहा कि मैं राज सरकार या याचिकाकर्ताओं का कर्ताओं में से किसी का विरोध नहीं कर रहा। मैं बस वैधानिक पक्ष रखना चाहता हूं पूर्ण राम सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस संजीव खन्ना और एवीएन भट्टी की बेंच ने उन्हें एफिडेविट फाइल करने की अनुमति यह कहते हुए दी कि वह जाति सर्वे पर किसी प्रकार का फिलहाल रोक नहीं लग रहे हैं। इधर याचिकाकर्ताओं की ओर से वरीय अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने जाति सर्वे के आंकड़े के प्रकाशन पर रोक की मांग की तो राज्य सरकार के अधिवक्ता श्याम दीवान ने कड़ा प्रतिकार किया। कहा कि यह सवाल कहां से आ गया। सर्वे के आंकड़े अपलोड हो चुके हैं। अब उनका विश्लेषण होगा।

ठोस आधार बिना रोक नहीं: कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक बार फिर से बिहार में जातीय गणना (सर्वेक्षण) को जारी रखने के पटना हाईकोर्ट के फैसले में दखल देने से इनकार कर दिया। शीर्ष न्यायालय ने साफ कहा कि हम तब तक इस प्रक्रिया यानी जातीय गणना करने या रिपोर्ट प्रकाशित करने पर रोक नहीं लगाएंगे, जब तक इसके खिलाफ प्रथमदृष्टया मामला नहीं बनता हो। न्यायमूर्ति संजीव खन्ना व न्यायमूर्ति एसवीएन भट्टी ने इस मामले में केंद्र सरकार को एक हफ्ते में जवाब दाखिल करने की अनुमति दे दी।

पाकिस्तान से तुलना का विरोध

हिन्दुस्तान के अनुसार जदयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने सोमवार को भाजपा नेताओं के बयान पर कड़ी आपत्ति दर्ज की है। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता बिहार की तुलना पाकिस्तान से करते हैं। “क्राइम ब्यूरो के आंकड़े से हमारी तुलना करते तो हमें कोई चिंता नहीं होती, लेकिन उन्होंने हमारे देश के दुश्मन से तुलना कर दी। इसके लिए उन्हें माफी मांगनी चाहिए।” नीरज कुमार ने कहा कि गिरिराज सिंह, डॉ. संजय जायसवाल और हरिभूषण ठाकुर बचौल ने आपराधिक घटनाओं की राजनीतिक आलोचना के क्रम में यह कहा कि बिहार की हालत पाकिस्तान से बदतर है। इन्होंने बिहार का अपमान किया है। आरोप लगाया कि कानून व्यवस्था, प्रेस स्वतंत्रता, वर्ल्ड हैप्पीनेस, ग्लोबल हंगर तथा ग्लोबल कंपीटिटिवनेस इंडेक्स में भारत की स्थिति पाकिस्तान से बदतर है।

भाजपा का पलटवार

केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने आरोप लगाया है कि जदयू -राजद से बिहार नहीं संभल रहा है और वे पाकिस्तान की स्थिति को भारत से बेहतर बता रहे हैं। यह बयान देश का सरेआम अपमान है। कोई भारत को नीचा दिखाने की सोच वाला दल ही ऐसा देशविरोधी बयान दे सकता है। सोमवार को उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार को बताना चाहिए कि क्या अप्रत्यक्ष रूप से वो अपने नेताओं से पाकिस्तान के जिंदाबाद का नारा लगवाना चाहते हैं। कभी कांग्रेस नेता तो कभी राजद नेता तो कभी जदयू नेताओं का पाकिस्तान प्रेम उमड़ता है।

शिक्षा विभाग वेतन रोकने पर अड़ा

भास्कर की खबर है: शिक्षा विभाग का बीआरएबीयू के वीसी का वेतन रोकने का फैसला वापस लेने से इनकार। शिक्षा विभाग ने बीआरए बिहार विश्वविद्यालय मुजफ्फरपुर के कुलपति और प्रति कुलपति के वेतन रोकने के अपने फैसले को वापस लेने से इंकार कर दिया है। विभाग ने राजभवन को भेजे पत्र में बिहार राज्य विश्वविद्यालय अधिनियम 1976 का हवाला दिया है। पूछा है कि इस अधिनियम की किस धारा में विश्वविद्यालयों की स्वायत्तता परिभाषित है और लिखा है कि विश्वविद्यालय स्वायत्त संस्थान हैं। विभाग के सचिव वैद्यनाथ यादव की ओर से प्रेषित पत्र में कहा गया है कि राज्य सरकार सालाना विश्वविद्यालय को 4000 करोड़ रुपये देती है, लिहाजा शिक्षा विभाग को विश्वविद्यालयों को उनकी जिम्मेदारी बताने और पूछने का पूर्ण अधिकार है कि वह इस राशि को कहां और कैसे इस्तेमाल कर रहे हैं।

ट्रंप की भारत को धमकी

अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि अगर वो सत्ता में आए तो भारत के उत्पादों पर कर लगाएंगे। उन्होंने अमेरिकी उत्पादों पर भारत द्वारा भारी कर लगाने का मुद्दा उठाते हुए ये बात कही। अमेरिकी मीडिया को दिए एक साक्षात्कार में ट्रंप ने कहा कि अमेरिका-भारत में टैक्स व्यवस्था समान होनी चाहिए। उन्होंने दावा किया कि भारत में करों की दरें बहुत ज्यादा हैं, वो 100 प्रतिशत और 150 प्रतिशत और 200 प्रतिशत तक टैक्स लगाते हैं।

सर्जिकल स्ट्राइक का दावा

जागरण की सबसे बड़ी खबर है: भारत ने पाकिस्तान पर फिर की सर्जिकल स्ट्राइक। अपनी इस खास खबर में जागरण ने दावा किया है कि भारतीय सेवा ने एक बार फिर दुश्मन को उसके घर में घुसकर मारा है। अखबार लिखता है कि इस बार हमारे जांबाजों ने राजौरी व पूंछ जिलों के मध्य से नियंत्रण रेखा के पर जाकर गुलाम जम्मू कश्मीर के कोटली के नकयाल में सक्रिय आतंकियों के चार लॉन्चिंग पैड को पूरी तरह तबाह कर दिया। लगभग ढाई किलोमीटर अंदर घुसकर की गई इस सर्जिकल स्ट्राइक में 7 से 8 आतंकियों के मारे जाने की सूचना है।

पटना में पार्क के नाम पर सियासत

हिन्दुस्तान के अनुसार पटना के एक पार्क के नाम पर सियासत शुरू हो गई है। भाजपा नेताओं का आरोप है कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर कंकड़बाग स्थित पार्क का नाम पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग ने बदलकर कोकोनट पार्क रख दिया है। वहीं, विभाग ने साफ किया है कि इस पार्क का नाम कोकोनट पार्क पहले से ही था। नाम में बदलाव नहीं किया गया है। केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने कहा कि पार्क का नाम बदला जाना एक भारतरत्न नेता का अपमान है। खुद राज्य सरकार ने इस पार्क को मान्यता दी है। वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री तेजप्रताप यादव ने कहा कि अटल पार्क का नाम स्थानीय भाजपाई व आरएसएस के लोगों ने दिया है। उन्हीं लोगों ने पार्क में मूर्ति स्थापित की है। मीडिया में वही लोग अफवाह फैला रहे हैं। सरकारी कागजों में इस पार्क का नाम पहले से कोकोनट पार्क ही है।

कुछ और सुर्खियां

  • बगहा में महावीरी अखाड़ा के जुलूस पर पथराव, प्रतिमा टूटने पर हिंसक झड़प, डेढ़ दर्जन लोग जख्मी
  • पटना लाठीचार्ज मामले में लोकसभा अध्यक्ष ने डीएम व एसएसपी को बुलवाया
  • फिल्म अभिनेता सनी देओल को राहत बैंक, ऑफ बड़ौदा ने तकनीकी कारण बताकर उनके बंगले की नीलामी की सूचना वापस ली
  • बीएससी 67वीं मेन परीक्षा का रिजल्ट 31 अगस्त को संभावित
  • नर्सिंग में दाखिले के लिए अधिकतम उम्र सीमा समाप्त
  • विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ की बैठक में शामिल होगी आम आदमी पार्टी
  • लोकसभा चुनाव में भाजपा का जाना तय: लालू
  • जेपी गंगा पथ का बख्तियारपुर से कोइलवर तक होगा विस्तार
  • मणिपुर हिंसा पर गठित समिति ने सुप्रीम कोर्ट में तीन रिपोर्ट सौंपी

अनछपी: बिहार में कानून व्यवस्था की तुलना पाकिस्तान से करना समझ से परे है लेकिन भारतीय जनता पार्टी को लगता है कि इसमें कोई बुराई नहीं है। दूसरी तरफ जब जनता दल यूनाइटेड ने भारत की तुलना पाकिस्तान से करते कुछ मामलों के उदाहरण दिए तो उन्हें बुरा लग गया। तुलना करने का यह मजाक भारतीय जनता पार्टी ने शुरू किया और यह उस पर भारी पड़ गया। भारतीय जनता पार्टी अपने सांप्रदायिक राजनीति के कारण ही हर बात में पाकिस्तान को बहस में लेकर आ जाती है और इस पर काफी आक्रामक रोग अपनाती है लेकिन जब पलट वार किया गया तो भाजपा अब रक्षात्मक रूप अपने को मजबूर हो गई। हाल के दिनों में बिहार में कुछ ऐसी हत्याएं हुई हैं जिससे कानून व्यवस्था पर सवाल उठना लाजमी है। लेकिन इसका यह मतलब तो नहीं कि बिहार की तुलना पाकिस्तान से की जाए। सोचने की बात हौ कि जैसे भारत की तुलना पाकिस्तान से करने पर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को बुरा लगता है वैसे ही बिहार की तुलना पाकिस्तान से करने पर बिहारी को बुरा लग सकता है। यह भी पूछा जा सकता है कि अगर इस समय भारतीय जनता पार्टी सरकार में होती तो क्या बिहार की तुलना पाकिस्तान से करती? जदयू नेताओं की यह बात समझ में आने वाली है की तुलना ही करनी है तो क्राइम ब्यूरो के रिकॉर्ड से अन्य राज्यों से तुलना की जाए। पाकिस्तान से तुलना करने का एक्शन उकसान यह भी है कि कानून व्यवस्था पर जो गंभीर बहस होनी चाहिए वह बहस किसी और तरफ मुड़ जाती है। वास्तविकता यह है कि कानून व्यवस्था पर बहस में ऐसी तुलना ओछी राजनीति का परिणाम है और इससे बचना बेहद जरूरी है। भारतीय जनता पार्टी को जिस तरह का जवाब जदयू नेताओं ने दिया है उसे शायद उन्हें अपनी रणनीति में बदलाव लाना पड़े और आगे पाकिस्तान को किसी राजनीतिक बहस में लाने से पहले कई बार सोच विचार करें।

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