छपी-अनछपीः पटना में चले बुलडोजर तो फेंके गये पेट्रोल बम, एक और शब्दजालः तृप्तीकरण

बिहार लोक संवाद डाॅट नेट
पटना के राजीव नगर में पिछले कई दिनों से अवैध निर्माण के खिलाफ कार्रवाई के लिए चल रही तैयारी के बाद रविवार को प्रशासन का बुलडोजर चला तो इस कार्रवाई के विरोध करने वालों ने पुलिस पर पेट्रोल बम फेंका। यह खबर आज के सभी हिन्दी अखबारों की लीड है।
उधर, हैदराबाद में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने तुष्टिकरण के साथ एक नये शब्द ’तृप्तीकरण’ का जाल बिछाया है।
नुपूर शर्मा के बारे में तल्ख टिप्पणी करने वाली बेंच के खिलाफ सोशल मीडिया पर बयानबाजी को लेकर जस्टिस जेबी पारदीवाला की गंभीर आपत्ति की खबर टाइम्स आॅफ इंडिया की लीड है। इस खबर की चर्चा हिन्दी अखबारों में दबा दी गयी है।
दूसरी खबरों में लालू प्रसाद के कंधे की हड्डी टूटने की खबर भी प्रमुखता से छपी है।
राजीव नगर में रविवार को 20 एकड़ जमीन पर बने 35 निर्माणाधीन और बड़े मकान व 35 चहारदीवारी तोड़ी गयी। प्रभात खबर की हेडिंग है- पेट्रोल बम व आंसू गैस के बीच नेपाली नगर में चला बुलडोजर। हिन्दुस्तान अखबार लिखता है कि इस दौरान जमकर बवाल हुआ। पथराव, फायरिंग और आगजनी में सिटी एसपी मध्य अंबरीश राहुल और कुछ पुलिसकर्मी घायल हो गये। पुलिस ने भी आंसू गैस के गोले और रबर बुलेट दागे।
महाराष्ट्र में शिव सेना के बागी गुट के नेता एकनाथ शिंदे ने रविवार को भाजपा के राहुल नार्वेकर को विधानसभा अध्यक्ष पद पर जीत दिलकार पहली बाधा पार कर ली। श्री नार्वेकर को कुल 164 मत मिले जबकि उद्धव ठाकरे की शिव सेना के उम्मीदवार राजन साल्वी को 107 मत मिले। महराष्ट्र विधानसभा में इस समय 287 सदस्य हैं। 12 विधायकों ने वोटिंग में हिस्सा नहीं लिया जबकि बाकी चार में से दो बीमार हैं और दो जेल में हैं।
आज के अखबारों की एक और बड़ी खबर सारण जिले के मढ़ौरा से पूर्व विधायक सुरेन्द्र शर्मा को तीन शूटरों के साथ अपनी ही बेटी को जान से मरवाने की सुपारी देने के आरोप में गिरफ्तार किये जाने की है। इनकी बेटी ने अंतरजातीय शादी की है और पुलिस का कहना है कि इसी से गुस्साये श्री शर्मा ने अपनी बेटी का कत्ल करवाने के लिए सुपारी दी थी। पुलिस के अनुसार काॅन्ट्रैक्ट किलर ने उनकी बेटी पर फायर कर दी थी लेकिन पिस्तौल में गोली फंसने के कारण वह बच गयी थी।
अनछपीः हैदराबाद में आयोजित भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक नया शब्दजाल बुना है- तृप्तीकरण। प्रभात खबर में यह दूसरी सबसे अहम खबर है जिसकी हेडिंग हैः भाजपा की सोच तुष्टिकरण नहीं, तृप्तीकरण है। इस तृप्तीकरण के साथ उन्होंने तुष्टिकरण का उल्लेख कर संघ प्रचार तंत्र के उसी शब्दजाल को विस्तार दिया है जिसमें निराधार दावे किये जाते हैं। भाजपा और संघ प्रचार तंत्र ने पूरा शब्दजाल बुनकर यह भरमाने की कोशिश की भारत में अल्पसंख्यकों को खासकर मुसलमानों को बहुल दुलारा-पुचकारा जाता है, उनकी मांगों पर बहुत ध्यान दिया जाता है और इसी दावे के साथ उनका यह कहना भी रहता है कि भारत मुसलमानों के लिए सबसे बेहतर जगह है। दूसरी ओर सच्चर कमिटी और अन्य अध्ययनों में पाया गया है कि वास्तव में मुसलमान शैक्षणिक और आर्थिक दृष्टि से सर्वाधिक पिछड़े हैं। श्री मोदी ने कहा कि ’’जब हम तृप्तीकरण की बात करते हैं तो साफ है कि हमारा उद्देश्य सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय है।’’ उन्होंने भाजपा को सभी वर्गों से जोड़ने के लिए स्नेह यात्रा शुरू करने की भी बात की। इस बारे में बस इतना कहना है काफी होगा कि इस प्रचार तंत्र के हर नये शब्द के पीछे छिपे शातिर दिमागी को समझा जाए।

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